Site icon Taaza Suchana

बिना तारो के बिजली पहुंचेगी आपके घर, प्रधान मंत्री श्री नरेंद्र मोदी का ऐलान, बदल जायेगी भारत की तस्वीर,

नितीश और अमित शह मिलकर बढ़ाएंगे लालू की टेंशन 32

 

वायरलेस बिजली का जाल होगा भारत भर में, आने वाले सालो में रोड से गायब हो जाएंगे बिजली के खंभे?

बदलती दुनिया और साला दर साल नए नए प्रयोगों से हर बार दुनिया को विशेषज्ञ चौकते रहते हैं, भले ही दुनिया भर में भारत से उन्नत देश हैं, लेकिन वहा भी भारतीय विशेषज्ञ की वजह से ही साइंस और तकनीक में देशों को महारत हासिल हों रही हैं, लेकीन बदलते भारत आज तकनीक कि जरूरत है, क्युकी दुनिया का सबसे बड़ा मार्केट अगर कही हैं तो वह भारत में हैं, जहा इलेक्ट्रिक बाजार से लेकर, तमाम जरूरतों को पूरा करना किसी चैलेंज से कम नही हैं, उसी में से एक हैं भारत में बिजली की पूर्ति करना, अब भारत में यूरेनियम और कोयले से ज्यादा सरकार का उद्देश्य हैं की पवन ऊर्जा, अक्षय ऊर्जा का उपयोग हो ताकि भारत का बिजली संकट हर हालत में काम हों.

यूरेनियम की बात करे तो भारत के कुछ प्रांत में यूरेनियम का सीमित भंडार हैं, लेकिन उसको शुद्ध करने की प्रक्रिया बहुत महंगी हैं, इस बात को ध्यान में रखते हुए भारत सरकार जरूरत के हिसाब से ही अब यूरेनियम का उपयोग करेंगी।

लेकीन घरों घरों तक बिजली पहुंचना भी एक जटिल काम हैं, पहले ही भारत बढ़ते आबादी से परेशान हैं , और जगह की कमी की वजह से अब भारत ने अंडरग्राउंड केबल बिछाना शुरू कर दिया हैं जिससे कोई हादसे भी नही होंगे और ना ही कोई परेशानी।

अब भारत में बिना तारो के बिजली पहुंचेगी मतलब की अंडरग्राउंड केबल कनेक्शन से भारत के घर उजागर होंगे, जल्द ही मेट्रो सिटी में यह काम शुरू कर दिया जाएगा।

: जिस तरह हम इंटरनेट का उपयोग करते हैं, जिसके लिए कोई भी वायर की जरूरत नहीं पड़ती, और नही की किसी इंटरनेट खंभे की, कुछ ऐसा ही। खयाल अब हमारे देश के प्रधान मंत्री जी के मन में आया हैं, बदलते भारत को देख उन्होंने एक सम्मेलन में बड़ी बात बिल दी,की जल्द ही हरियाणा में एक पायलट प्रोजेक्ट की शुरुवात होने वाली हैं,जी हिसार शहर की तकदीर बदल जायेगी, पहले तो कुछ मंत्रयालय का कहना था की वायरलेस बिजली के लिए किसी मेट्रो सिटी का चयन किया जाए,लेकिन कुछ टीम मेंबर का कहना था की क्यू न “वायरलेस बिजली के पायलट प्रोजेक्ट” की शुरुवात हिसार से की जाए , और जल्द ही हिसार में इस प्रोजेक्ट का शुभारंभ किया जाएगा.


अगर यह प्रोजेक्ट सफल साबित हुआ तो बाकी शहरों में भी इस पहल को आजमाया जाएगा, मतलब की भारत के शहरों से हमेशा के लिए बिजली के खम्बो गायब हो जाएंगे, और कही हादसे भी टल जाएंगे।

फिलहाल हम दिल्ली, मुंबई जैसे महानगर को देखे तो वहा आबादी ज्यादा हैं और जगह कम ,साथ ही घरों में बिजली की पहुंच सुधार करने की जरूरत हैं, क्युकी। जगह जगह खम्बो की मदद से तारो के सहारे बिजली की लेनदेन की जाती हैं.जी काफ़ी खर्चीला भी हैं,और हादसों को बुलाने वाला भी ।

 

Exit mobile version